नई दिल्ली. सर्दियों में मछलियों की अच्छी तरह से देखभाल करने की जरूरत होती है. क्योंकि ठंड के समय मछली का मेटाबॉलिज्म धीमा हो जाता है. इसके चलते शरीर का तापमान चार डिग्री सेल्सियस तक गिर जाता है और मछलियों को सांस लेने में बेहद ही परेशानी का सामना करना पड़ता है. कई बार हृदय गति भी कम हो जाती है, इससे मछलियों की मौत की भी आशंका रहती है. वहीं मछलियां ठंड में तेजी से विकास नहीं कर पाती हैं. इससे उत्पादन पर भी असर पड़ता है. फिश एक्सपर्ट कहते हैं कि मछलियों की अच्छी तरह से देखभाल करने के लिए पानी की गुणवत्ता पर नजर बनाए रखना सबसे अहम काम होता है. पानी के पीएच मान को 7 से 8 के बीच बनाए रखना जरूरी होता है और चूने का उपयोग भी किया जाता है.
बताते चलें कि ठंड के मौसम में मछलियों में बीमारियां जल्दी से लग जाती है. मछलियों को बैक्टीरिया, वायरस, फंगस, और पारासाइट्स की समस्या होती है. वहीं ऑक्सीजन की कमी के कारण मछलियों कमजोर होकर मरने लगती हैं. ठंड के मौसम में पानी का तापमान कम हो जाता है, जिससे मछलियों की सेहत पर असर पड़ता है. आइए इस आर्टिकल में जानते हैं कि ऐसा क्या करें कि मछलियों ठंड में किसी तरह की कोई दिक्कत न हो.
मछलियों को ठंड से बचाने के लिए करें ये काम
- मछलियों को ठंड से बचने के लिए पानी की गुणवत्ता पर ध्यान रखना चाहिए. पानी का पीएच मान 7 से 8 के बीच रखेंगे तो पानी के संतुलन बना रहेगाा. पानी का संतुलन बनाए रखने के लिए चूने का भी इस्तेमाल किया जाता है.
- तालाब को साफ रखें. तालाब से पत्तियां और मलबा हटाने के लिए जाल का इस्तेमाल करें. कई बार तालाब के किनारे लगे पेड़ की पत्तियां तालाब में गिर जाती हैं, जिसकेे चलते मछलियों को दिक्कतें होती हैं.
- कोशिश करें कि पानी की सतह पर बर्फ कभी भी न जम पाये. तालाब के पानी को बहुत ज्यादा ठंडा होने से रोकने के लिए एरियेटर का इस्तेमाल किया जाता है. वहीं इससे ऑक्सीजन की मात्रा भी बनी रहती है.
- मछलियों को ठंड से बचने के लिए ट्यूबवेल या पंपिंग सेट से तालाब में पानी भरना चाहिए. तालाब में ताजा पानी भरने की वजह से तालाब का तापमान मेंटेन रहता है. इससे मछलियां ठंड से बच जाती हैं.
- अगर तालाब की गहराई 6 फीट तक रखी जाती है तो यह मछलियों के लिए बेहतर होता है. वहीं तलाब केे आसपास से पेड़ आदि काट देना चाहिए. ताकि मछलियों को सीधी धूप मिलती रहे.
- मछली को बीमारियों से बचने के लिए दवा निर्धारित समय और मात्रा में दी जानी चाहिए. मछली पालन में हमेशा ऐसी मछलियों को चुनना चाहिए जो लचीली हों.
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