Home पशुपालन Animal News: इन किसानों को भैंस, बकरी और मछली समेत इस कैटेगरी में अच्छा काम करने पर CM देंगे पुरस्कार
पशुपालन

Animal News: इन किसानों को भैंस, बकरी और मछली समेत इस कैटेगरी में अच्छा काम करने पर CM देंगे पुरस्कार

livestock animal news gadvasu
इन किसानों को मिलेगा ईनाम.

नई दिल्ली. गुरु अंगद देव पशु चिकित्सा और पशु विज्ञान विश्वविद्यालय लुधियाना में आयोजित पशु पालन मेले में 21 मार्च को राज्य के चार प्रगतिशील पशुपालकों को मुख्यमंत्री पुरस्कार प्रदान करेंगे. विस्तार शिक्षा निदेशक डॉ. रविंदर सिंह ग्रेवाल ने कहा कि विश्वविद्यालय अपने विस्तार कार्यक्रमों को मजबूत करके राज्य में पशुधन क्षेत्र के विकास के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है. तमाम पशुपालकों को प्रेरित करने के लिए यूनिवर्सिटी ने विभिन्न श्रेणी के पशुपालन प्रणालियों की उत्पादकता और मुनाफे में सुधार करने में इन टेक्नोलॉजी को अपनाने की सीमा और प्रभाव का आकलन करके अभिनव प्रतियोगिताएं आयोजित करता है.

बता दें कि इसके जवाब में यूनिवर्सिटी को कई आवेदन प्राप्त हुए हैं. डीन और निदेशकों सहित विशेषज्ञों की एक समिति ने प्रतियोगिताओं में भाग लेने वाले पशुपालकों से मुलाकात की और कुल खेती प्रणाली का मूल्यांकन किया. आखिरी फैसले के बाद यूनिवर्सिटी ने विभिन्न श्रेणियों में विजेताओं के नामों की घोषणा की.

भैंस और बकरी की कैटेगरी में इन्हें चुना गया
भैंस कैटेगरी में गुरलाल सिंह, पुत्र श्री हरबंस सिंह, गांव करारवाला, जिला बठिंडा को भैंस डेयरी फार्मिंग श्रेणी में सम्मानित किया जाएगा. इस वक्त उनके पास 60 भैंसे हैं. जिनमें से 25 दुधारू भैंसे हैं. जिससे रोजाना 235 लीटर दूध मिल रहा है. वह दूध सीधे उपभोक्ताओं को बेचते हैं और पनीर, खोया और घी भी तैयार करते हैं. बकरी पालन के क्षेत्र में लुधियाना जिले के गांव मनुके संधू के बलदेव सिंह संधू को सम्मानित किया जाएगा. कॉलेज की पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने 2021 में बकरी पालन शुरू किया. इस समय उनके पास 200 पशु हैं. उन्होंने अपने फार्म को ब्रीडिंग फार्म के तौर पर तैयार किया है. उन्होंने ‘बीटल ब्रीडर्स क्लब’ भी बनाया है.

इन किसानों ने मछली पालन में बनाई अलग पहचान
मछली पालन के क्षेत्र में यह सम्मान दो किसानों को दिया जा रहा है. पहले किसान अमितेश्वर सिंह गिल पुत्र श्री गुरिंदर सिंह गिल जिला मोगा हैं. वह पेशेवर दंत चिकित्सक भी हैं. वह पिछले तीन साल से मछली पालन कर रहे हैं और उनके मछली फार्म की उत्पादन क्षमता 7 टन प्रति वर्ष है. दूसरे किसान श्री परमिंदरजीत सिंह पुत्र दीदार सिंह निवासी जिला कपूरथला हैं. पिछले तीन सालों से वे आधुनिक तकनीक से मछली पालन का व्यवसाय कर रहे हैं. उन्होंने मछली तालाब और सुअर पालन को एकीकृत कृषि प्रणाली से जोड़ दिया है. उनका मछली फार्म 4 एकड़ क्षेत्र में फैला हुआ है, जिसमें सालाना 10 टन मछली का उत्पादन हो रहा है.

नकद पुरस्कार के ईनाम में ये मिलेगा
सुअर पालन की श्रेणी में यह सम्मान दो किसानों को भी दिया जा रहा है. पहले किसान हैं हरिंदरपाल सिंह, पुत्र श्री बलदेव सिंह, जिला फतेहगढ़ साहिब. उन्होंने 2016 में यह पेशा शुरू किया था. वर्तमान में उनके पास 120 पशु सहित कुल 1200 पशु हैं. पिछले तीन सालों से उनके फार्म से हर साल 500-700 पशु बिक रहे हैं. दूसरे किसान हैं सुरिंदरपाल सिंह, पुत्र श्री सूबा सिंह, गांव वजीदपुर, जिला फिरोजपुर. उन्होंने भी 2016 में इसी पशु का पालन शुरू किया था. उनके फार्म पर भी हर साल करीब 400 पशु बिकते हैं. वे पशुओं के स्वास्थ्य की देखभाल के लिए वैज्ञानिक तरीकों और जैव सुरक्षा नियमों का सख्ती से पालन करते हैं. डॉ. ग्रेवाल ने बताया कि इन पुरस्कारों में नकद राशि के अलावा पट्टिका, शॉल और प्रशस्ति पत्र भी दिया जाता है.

Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Related Articles

जैसे बच्चा बाहर आ जाए, उसे पशु को चाटने देना चाहिए. जिससे उसके शरीर में लगा श्लेषमा सूख जाए. जरूरत हो तो साफ नरम तौलिया से बच्चे को साफ कर दीजिए.
पशुपालन

Animal Husbandry: गर्भ के समय कैसे करें पशुओं की देखभाल, जानिए एक्सपर्ट के टिप्स

जैसे बच्चा बाहर आ जाए, उसे पशु को चाटने देना चाहिए. जिससे...

सफेद कोट का रंग होता है. नर में चेहरे, गर्दन और पिछले पैरों पर लंबे बालों का गुच्छा होता है.
पशुपालन

Assam Hill Goat: असम की पहचान है ये पहाड़ी बकरी, जानिए इसकी खासियत और ये जरूरी बात

सफेद कोट का रंग होता है. नर में चेहरे, गर्दन और पिछले...

गंभीर दस्त से पीड़ित भैंस को अक्सर अंत शीला पोषण की आवश्यकता होती है. किसी अन्य जानवर के रुमेन ट्रांसपोर्टेशन उन जानवरों के लिए सहायक हो सकता है जिन्हें खाना नहीं दिया गया है. या जो अनाज की अधिकता जैसे विशाल अपमान का सामना कर रहे हैं.
पशुपालनसरकारी स्की‍म

Green Fodder: यूपी में पशुओं के लिए चारा उत्पादन बढ़ाने को सरकार चला रही है ये योजना

जो खेती योग्य भूमियों से भिन्न प्रकार की भूमियों में जैसे बंजर...