Home पशुपालन Organic Animal Husbandry: क्या है जैविक पशुपालन, क्यों पड़ रही है इसकी जरूरत, जानें यहां
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Organic Animal Husbandry: क्या है जैविक पशुपालन, क्यों पड़ रही है इसकी जरूरत, जानें यहां

गर्मियों में पशु बहुत जल्द बीमार होते हैं. अगर ठीक से इनकी देखरेख कर ली जाए तो हम पशुओं को बीमार होने से बचा सकते हैं.
प्रतीकात्मक फोटो.

नई दिल्ली. देश में कृषि उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए हरित क्रांति की शुरूआत हुई. इससे कृषि उत्पादन बढ़ा तथा हम आत्मनिर्भर भी हुए लेकिन इस उत्पादन को बढ़ाने के लिए अंधाधुंध सेनेटाइज्ड रासायनिक खादों, कीटनाशकों, पेस्टीसाइज्ड, खरपतवार को मारने वाली दवाओं का उपयोग भी बढ़ा. जिसके कारण अवशेष वातावरण और खाद्य पदार्थों में फैलने लगे जिससे वातावरण प्रदूषण बढ़ा व इनका इंसानों और यहां तक की जानवरों पर भी असर पड़ा. इसके अलावा प्रकृति पर बहुत ही बुरा प्रभाव पड़ा. इसके चलते इसांनों व अन्य प्राणियों में कई घातक बीमारियों जैसे की कैंसर, एलर्जी, चर्म रोग, कैंसर, नर्वस सिस्टम और पाचन सम्बन्धी बीमारियों को बढ़ावा मिला.

एक्सपर्ट का कहना है कि इसके अलावा नेचुरल में बायोलॉजिकल डाइवर्सिटी और इकोलॉजी व्यवस्था के स्थिरता में भी कमी आई. इन बीमारियों से बचने तथा इंसानों समेत अन्य प्राणियों को हेल्दी रखने के लिए प्रोडक्शन को बढ़ाने के साथ-साथ खाने वाले सामनों की गुणवत्ता को बढ़ाने के लिए समय की मांग के अनुसार जैविक पशुधन उत्पादन को बढ़ाने की आवश्यकता महसूस हुई है.

किसी भी तरह की नहीं है रासायनिक खाद
जैविक पशुपालन कृषि से परस्पर, इकोलॉजी प्रेंडली एक ऐसा प्रबंधन है जिसमें पशुओं को जो भी चारा व दाना खिलाये जाये वो सभी जैविक होना चाहिए. बताते चलें कि ये प्रोडक्ट किसी भी सेनेटाइज्ड रासायनिक पदार्थ जैसे कि पेस्टीसाइज्ड, खरपतवार को खत्म करने वाली दवाओं, भारी धातु तत्वों व सभी प्रकार की रासायनिक खादों जैसे यूरिया, डाई अमोनियम सल्फेट, सिंगल सुपर फॉस्फेट आदि से पूरी तरह से फ्री है.

जैविक पशुपालन का क्या है मकसद

  1. जैविका पशुपालन का पहला मकसद है कि पर्याप्त मात्रा में अधिक गुणवता से भरे हुए खाद्य पदार्थ का उत्पादन किया जाए.
  2. जमीन की उर्वरकता को लम्बे समय के लिए बनाये रखा जाए.
  3. पशुधन, कृषि व वातावरण में प्राकृतिक चक्र बनाना तथा इकोलॉजिकल सिस्टम को प्रदूषण से बचाकर मजबूत करना.
  4. कृषि व जैविक विविधता का संरक्षण व अन्य जीवों तथा उनके आवासों को बचाना.
  5. जीन विविधता को संभव करना.
  6. जल व जीवन के संरक्षण को प्रोत्साहित करना.
  7. रिसाइकल पदार्थों के अधिकतम उपयोग को बढ़ाकर वातावरण को प्रदूषण से बचाना.
  8. फसल उत्पादन व पशुपालन में संतुलन स्थापित करना.
  9. पशुओं को उनका प्राकृतिक स्वभाव जाहिर करने देना.
  10. जैविक अपाट्य व पुन चक्रित पदार्थों के उपयोग को बढ़ाना.
  11. जैविक पशुपालन के द्वारा मनुष्यों व अन्य प्राणियों को हेल्दी रखना.
  12. जैविक पशुपालन द्वारा पशुपालकों को अधिक से अधिक फायदा पहुंचाना.

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