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Animal News: अब गांव में होगा पशुओं की बीमारी का इलाज, राजस्थान के इन जिलों में खुलेंगे वेटरनरी सेंटर

दुधारू गाय व भैंस के ब्याने व उसके बाद सतर्क रहने की आवश्यकता है.
साहीवाल गाय की प्रतीकात्मक फोटो.

नई दिल्ली. पशुपालन को बढ़ावा देने के लिए सरकारें कई कोशिशें कर रही हैं. इसी कड़ी मे राजस्थान की सरकार ने राज्य में 499 नये पशु चिकित्सा उप केंद्र यानि वेटरनरी सब सेंटर खोलने का फैसला किया है. सरकार का कहना है कि इससे प्रदेश में पशु चिकित्सका के ढांचे को मजबूती देने में मदद मिलेगी और गांव में होगा पशुओं की बीमारी का इलाज किया जा सकेगा. सरकार की ओर से पशु चिकित्सा उप केंद्र खोले जाने की प्रशासनिक और वित्तीय इजाजत दे दी गई है. इसके साथ ही इन केंद्रों के संचालन के लिए 998 नवीन पदों के बनाने की भी मंजूरी दे दी गई है.

पशुपालन एवं गोपालन मंत्री जोराराम कुमावत ने बताया कि प्रदेश का पशुपालक खुशहाल होगा, तभी विकसित राजस्थान का सपना साकार होगा. पशुपालकों को खुशहाल बनाने के लिए उनके पशुओं की चिकित्सा सेवा को सुदृढ़ करना जरूरी है. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने पिछले एक साल में पशुओं और पशुपालकों के हित में अनेक कल्याणकारी कदम उठाए हैं. इसी कड़ी में पशु चिकित्सा सेवाओं का विस्तार भी एक महत्वपूर्ण कदम है.

सेंटर पर होगी वैक्सीनेश की सुविधा
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में पशु चिकित्सा सेवाओं के विस्तार के लिए लगातार कोशिश जारी है. इसी के तहत बजट घोषणा के कंप्लायंस में अहम फैसला लेते हुए 499 नये पशु चिकित्सा उपकेंद्र खोले जाने के आदेश जारी किया गया है. इससे छोटी छोटी समस्याओं का निदान पशुपालकों को उनके गांव में ही मिल सकेगा. उन्होंने कहा कि प्रदेश में पशु चिकित्सा के ढांचे को सुदृढ़ करने के लिए सरकार हर संभव प्रयास करेगी. कुमावत ने बताया कि इन उप केंद्रों के सुचारू संचालन के लिए पशुधन सहायक और पशुधन परिचर के कुल 998 पदों के सृजन के लिए भी स्वीकृति जारी की गई है. जिससे पशुओं के टीकाकरण आदि की सुविधा तथा अन्य छोटी मोटी समस्याओं का इलाज समय पर और नजदीक ही मिल सकेगा. साथ ही इन सभी उप केंद्रों पर आवश्यक उपकरणों और फर्नीचर आदि के लिए 30-30 हजार रुपये की मंजूरी भी जारी की गई है.

पशु चिकित्सा में हुए हैं ये भी काम
कुमावत ने बताया कि पशु चिकित्सा सेवा को मजबूत बनाने के लिए पिछले एक साल में सरकार ने निर्णय लेते हुए 25 प्रथम श्रेणी के पशु चिकित्सालयों को बहुद्देशीय पशु चिकित्सालय में अपग्रेड किया है और 50 पशु चिकित्सालयों को प्रथम श्रेणी चिकित्सालयों में और 100 पशु चिकित्सा उप केंद्रों को पशु चिकित्सालयों में बदला गया है. साथ ही दो नए पशु चिकित्सालय खोले जाने की भी मंजूरीी प्रदान की गई है. नये ओदश के तहत तहत खोले जाने वाले उप केंद्रों में बाडमेर के 52, जोधपुर के 31, जालोर के 34, उदयपुर के 27,, पाली के 49, बीकानेर के 24, चित्तौड़गढ़ और भरतपुर के 22- 22, अजमेर के 20, झालावाड़ के 19, भीलवाड़ा के 17, डूंगरपुर के 15 तथा जैसलमेर, करौली और प्रतापगढ़ के 13-13 उप केंद्र शामिल हैं. पहले भी एक उप केंद्र खोले जाने की स्वीकृति दी जा चुकी है.

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