नई दिल्ली. सरकार पशुपालन को बढ़ावा देने के लिए कई योजनाएं चला रही है तो वहीं पशुओं की बीमारी को दूर करने के लिए भी योजना शुरू की गई है. सरकार की ओर से एफएमडी जैसी बीमारी से पशुओं को मुक्त करने के लिए एफएमडी मुक्त भारत अभियान के तहत नेशनल एनिमल डिसीज कंट्रोल प्रोग्राम (NADCP) की शुरुआत की गई है. जिसके जरिए पूरे भारत में शहर हो या ग्रामीण इलाका पशुओं को एफएमडी की वैक्सीन मुफ्त में लगाई जा रही है. ताकि तेजी से फैलने वाली ये बीमारी पशुओं को बीमार न कर पाए और इससे उत्पादन पर भी असर न पड़े. ताकि पशुपालक भाई पशुपालन के काम में ज्यादा से ज्यादा मुनाफा कम पाएं.
दरअसल,पशुपालन और डेयरी विभाग (DAHD) इंडिया के मुताबिक पशुओं को बीमारियों से बचाना बेहद ही जरूरी है. एफएमडी जैसी बीमारी से बचाना बेहद ही जरूरी है. यह एक ऐसी बीमारी है जो तेजी के साथ पशुओं में प्रसार करती है और उत्पादन को घटा देती है.
एफएमडी बीमारी क्या है
एफएमडी यानी फूड एंड माउथ डिजीज यह ऐसी बीमारी है जो तेजी के साथ पशुओं में फैलती है.
इस बीमारी का संक्रमण पशुओं से उपकरणों से यहां तक कि पशुओं के चारे से भी फैल सकता है. इसलिए इसका समय पर इलाज करना जरूरी होता है.
बता दें कि एफएमडी बीमारी न सिर्फ गाय, भैंस बल्कि भेड़, बकरी और अन्य जानवरों को भी प्रभावित करती है.
इस बीमारी में पशुओं के मुंह, खुर और थानों में छाले या घाव पैदा हो जाते हैं. जिससे पशु खाने चलने और दूध देने में कठिनाई महसूस करते हैं.
यह बीमारी पशुओं के लार, नाक, स्राव और पेशाब दूध में भी मौजूद होती है.
कहां मिलेगी ज्यादा जानकारी
डीएएचडी ने बताया कि एनएडीसी के तहत टीकाकरण अभियान शुरू किया है. इसके तहत देशभर में पशुओं को ठीक वैक्सीनेट किया जा रहा है.
इस अभियान के तहत गांव या शहर हर जगह पशुओं को वैक्सीन लगाने का काम फ्री में किया जा रहा है.
फ्री वैक्सीनेशन की ज्यादा जानकारी के लिए नजदीकी पशु चिकित्सा और डीएएचडी मैं कार्यालय में जा सकते हैं.
निष्कर्ष
पशुपालन और डेयरी विभाग का कहना है कि अगर पशु एफएमडी मुक्त रहता है तो इससे ज्यादा दूध मिलेगा और पशुओं की इनकम भी ज्यादा हो जाएगी. जिससे किसान मजबूत बनेंगे और देश की तरक्की में ज्यादा योगदान दे सकेंगे.
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