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Goat Farming: 50 लाख रुपये की सब्सिडी चाहिए तो यहां से कर लें बकरी पालने की ट्रेनिंग, जानिए पूरी स्कीम

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प्रतीकात्मक फोटो: livestockanimalnews

नई दिल्ली. केंद्र और यूपी सरकार पशु पालन को बढ़ावा देने के लिए लगातार कोशिश कर रही है. तभी तो पशुपालकों को अनुदान पर 50 फीसदी तक की छूट दी जा रही है, बस आपको सरकार द्वारा अनिवार्य की गई भेड़-बकरी पालन का प्रशिक्षण लेना होगा. आज से 19 फरवरी-2024 से नया बैच प्ररांभ हो गया. अगर आपने ट्रेनिंग कर ली तो आपको सब्सिडी पर 50 फीसदी तक छूट मिल जाएगी. इस पूरी योजना की जानकारी करने के लिए खबर के साथ अंत तक बने रहिए.

व्यावसाय को ध्यान में रखकर करें भेड़-बकरी पालन
भेड़-बकरी पालन भी एक ऐसा व्यवसाय है जो कृषि के साथ किया जा सकता है. वर्तमान में भारत में भेड़ पालन करके बहुत से किसान लाखों में कमाई कर रहे हैं. भेड़ पालन दुनिया के कुछ देशों में लोगों के बीच पारंपरिक व्यवसाय है. भेड़-बकरी पालन किसान मांस और कृषि खाद के लिए करते हैं. इसके अलावा भेड़ का मांस बहुत ज्यादा स्वादिष्ट माना जाता है. इसके साथ ही लाभदायक होता है. भेड़-बकरी पालन करने के लिए इस व्यवसाय को समझना बहुत ज्यादा जरूरी होता है. सबसे पहले आपको इस व्यवसाय के लिए योजना बनानी होगी. इसके बाद अपने बजट के हिसाब से काम करना होगा. इसके साथ ही सरकार द्वारा संचालित योजनाओंं का भी लाभ उठाया जा सकता है. केंद्र और प्रदेश सरकार किस योजना पर कितनी छूट दे रही है, अगर इस बारे में आपके पास जानकारी है तो आप बेहतर तरीके से भेड़-बकरी पालन को कर सकते हैं.

पांच दिन का प्रशिक्षण और आवास मिलेगा फ्री
भेड़-बकरी पालने के निए इसकी नॉलेज होना बेहद जरूरी है. नॉलेज कहां से आएगी, इसके लिए प्रशिक्षण लेना आवश्यक है.प्रशिक्षण कहां से होगा इसके लिए सरकारी योजनाओं की जानकारी होना जरूरी है. यूपी सरकार ने प्रदेश का पहला भेड़-बकरी प्रशिक्षण केंद्र इटावा में खोला है. इस प्रशिक्षण केन्द्र में निःशुल्क आवास एवं भोजन की व्यवस्था के साथ-साथ उन्हें प्रशिक्षण दिया जा रहा है.

500 बकरी तक का फार्म खोल सकते हैं पशुपालक
इटावा के मुख्य पशुपालन अधिकारी मनोज गुप्ता के अनुसार 16 अकटूबर 2023 को प्रदेश का पहला भेड़-बकरी प्रशिक्षण केंद्र खोला गया. अबतक 470 के करीब किसान भेड़-बकरी का प्रशिक्षण ले चुके हैं. उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय पशुधन मिशन यानी National Livestock Mission (एनएलएम) के तहत 100 से 500 बकरी की 5 तरह की यूनिट लगाने पर अधिकतम 50 प्रतिशत तक का अनुदान देने का प्रावधान है. लेकिन इसका लाभ पशुपालकों/किसानों को तभी मिलेगा जब वो प्रदेश के मथुरा और इटावा से प्रशिक्षण लेने के बाद सर्टिफिकेट प्राप्त करेंगे. इतना ही नहीं जो लोग प्रशिक्षण नहीं लेंगे उनको सब्सिडी का लाभ नहीं दिया जाएगा.

आज से शुरू हो गया नया बैच
इटावा के मुख्य पशुपालन अधिकारी मनोज गुप्ता ने बताया कि एक महीने में 4 बैच इटावा के प्रशिक्षण केंद्र में चलते है. आज से 19 फरवरी-2024 से बैच प्ररांभ हो गया. सेंटर में निशुल्क प्रशिक्षण और आवास की सुविधा है. वहीं पांच दिनों तक भोजन के लिए 1000 रुपये जमा करना होता है, बाकी सभी कुछ फ्री होता है.

इटावा में खुला यूपी का पहला भेड़-बकरी ट्रेनिंग सेंटर
मुख्य पशुपालन अधिकारी मनोज गुप्ता के अनुसार इसके लिए सरकार की ओर से पांच श्रेणियों में योजना को शुरू किया है.सौ बकरियों की यूनिट लगाने पर पांच बीजू नस्ल के बकरे दिए जाएंगे. इस यूनिट की लागत को 20 लाख रुपये मानते हुए इस पर 10 लाख रुपये तक का अधिकतम अनुदान सरकार द्वारा दि‍या जाएगा. इसी प्रकार अगर 200 बकरियों और 10 बीजू बकरे की यूनिट लगाने पर 40 लाख रुपये की लागत पर अधिकतम अनुदान 20 लाख रुपये देने का प्रावधान है.

50 लाख रुपये तक का अनुदान
मुख्य पशुपालन अधिकारी मनोज गुप्ता मिशन के बारे में बताते हैं कि अगर इस योजना के तहत 300 बकरियों और 15 बीजू बकरे की यूनिट की परियोजना पर आने वाली लागत पर 60 लाख रुपये पर 30 लाख रुपये अनुदान, 400 बकरियों और 20 बीजू बकरे की 80 लाख रुपये तक की लागत वाली यूनिट लगाने पर अधिकतम अनुदान 40 लाख रुपये दिया जाएगा. वहीं, 500 बकरियों और 25 बीजू बकरे की यूनिट की परियोजना लागत एक करोड़ रुपये मानते हुए इस पर 50 लाख रुपये का अनुदान देने की व्यवस्था की गई है.

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