नई दिल्ली. डेयरी व्यवसाय में मुनाफे के लिए कई चीजें जरूरी होती हैं. मसलन ज्यादा उत्पादन करने वाले पशुओं की नस्ल, कामर्शियल डेयरी फार्म के लिए नस्ल और आवास आदि. इसलिए जरूरी है कि सबसे पहले नस्ल पर ध्यान दिया जाए. क्योंकि ज्यादा प्रोडक्शन करने वाली नस्ल के पशु हमेशा ही ज्यादा फायदा पहुंचाते हैं. एक्सपर्ट का कहना है कि अगर ज्यादा प्रोडक्शन करने वाली गायों की बात की जाए तो इसकी कई खूबियां होनी चाहिए. मसलन, पशु का शरीर पच्चर (Wedge) के आकार का होना चाहिए. उसकी आंखें चमकदार और गर्दन पतली होना बेहतर माना जाता है. जबकि स्तन पेट से अच्छी तरह जुड़ा होना चाहिए.
डेयरी एक्सपर्ट की मानें तो स्तन की स्किन में रक्त वाहिकाओं (Blood Vessels) का अच्छा नेटवर्क होना चाहिए. स्तन के सभी चार चौथाई भाग अच्छी तरह से डीलिमिटेड होने चाहिए और थन अच्छी तरह से स्थिर होने चाहिए. अगर ये सब खूबियां हैं तो ये माना जा सकता है कि पशु बेहतर उत्पादन करके दे सकता है.
डेयरी फार्म के लिए नस्लों के चयन में सुझाव
भारतीय परिस्थितियों में एक कामर्शियल डेयरी फार्म में कम से कम 20 पशु होने चाहिए. इसमें 10 गाय, 10 भैंस को रखा जा सकता है. यह संख्या 50:50 या 40:60 के अनुपात में आसानी से 100 पशुओं तक जा सकती है. हालाँकि, इसके बाद, आपको विस्तार करने से पहले अपनी शक्ति और बाजार क्षमता की समीक्षा करने की भी जरूरत है. एक्सपर्ट कहते हैं कि मध्यम वर्ग के स्वास्थ्य के प्रति जागरूक भारतीय परिवार तरल दूध के रूप में कम वसा वाले दूध का सेवन करना पसंद करते हैं. इसलिए मिश्रित प्रकार के कामर्शियल फार्म के लिए जाना हमेशा बेहतर होता है.
कामर्शियल फार्म के लिए गाय की नस्लों का चयन
बाजार में अच्छी गुणवत्ता वाली गायें उपलब्ध हैं. इसी ऐसे समझें कि प्रतिदिन 10 लीटर दूध देने वाली गाय की लागत 25000 से 30,000 रुपये के बीच हो सकती है. यदि उचित देखभाल की जाए, तो गाय नियमित रूप से प्रजनन करती हैं और हर 13-14 महीने के अंतराल पर एक बछड़ा देती हैं. ये ज्यादा शांत होती हैं और उन्हें आसानी से संभाला जा सकता है. अच्छी दूध देने वाली संकर नस्लें (होलस्टीन और जर्सी क्रॉस) भारतीय जलवायु के अनुकूल हैं. बता दें कि गाय के दूध में वसा का प्रतिशत 3-5.5 फीसदी तक होता है और यह भैंसों से कम होता है.
डेयरी मवेशियों के लिए आवास
मवेशियों का कुशल प्रबंधन मवेशियों के लिए अच्छी तरह से प्लान्ड और पर्याप्त आवास के बिना अधूरा होगा. पशु आवास की अनुचित योजना से अतिरिक्त श्रम शुल्क लगता है. आवास में उचित स्वच्छता, स्थायित्व, सुविधाजनक और आर्थिक परिस्थितियों में स्वच्छ दूध के उत्पादन की व्यवस्था होनी चाहिए. इसमें आपको क्रॉस ब्रीड, गाय और भैंस को एक शेड के नीचे अलग-अलग पंक्तियों में रखाना चाहिए. वहीं आप जिस बाजार में अपना दूध बेचने की योजना बना रहे हैं, उसपर रिसर्च करना भी जरूरी है. आप दोनों प्रकार के पशुओं के दूध को मिलाकर बाजार की जरूरत के अनुसार बेच सकते हैं. होटल और कुछ सामान्य ग्राहक (लगभग 30% हो सकते हैं जो शुद्ध भैंस का दूध पसंद करते हैं. अस्पताल, सैनिटेरियम गाय के दूध को पसंद करते हैं.
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