Home पशुपालन Disease: इस मामूली लापरवाही से पशुओं को हो जाती है गंभीर बीमारी, नहीं ठहरता है गर्भ, पढ़ें इलाज
पशुपालन

Disease: इस मामूली लापरवाही से पशुओं को हो जाती है गंभीर बीमारी, नहीं ठहरता है गर्भ, पढ़ें इलाज

सीता नगर के पास 515 एकड़ जमीन में यह बड़ी गौशाला बनाई जा रही है. यहां बीस हजार गायों को रखने की व्यवस्था होगी. निराश्रित गोवंश की समस्या सभी जिलों में है इसको दूर करने के प्रयास किया जा रहे हैं.
प्रतीकात्मक तस्वीर.

नई दिल्ली. पशुपालन में पशुपालकों की इस मामूली लापरवाही की वजह से पशुओं को कई खतरनाक बीमारी होने का खतरा हो जाता है. इसलिए हमेशा ही बड़ी ही सावधानी के साथ पशुओं की देखरेख करना चाहिए. एनिमल एक्सपर्ट का कहना है कि पशुओं को प्रजनन के समय या फिर प्रजनन के बाद ऐसे स्थान पर रखने से जहां गंदगी हो तो पशु के प्रजनन अंगों में योनि द्वार से बैक्टीरिया इंटर कर जाते हैं. इसके चलते पशुओं को कई तरह के रोग हो जाते हैं. जिससे पशु प्रजनन नहीं कर पाते हैं.

एनिमल एक्सपर्ट की मानें तो ऐसे पशु की जब तक कोई इलाज नहीं करवाया जाता तो उनको गर्भ नहीं ठहरता है. आइए आगे जानते हैं कि प्रजनित पशुओं को गंदगी में बांधने से आमतौर पर कौन-कौन सही बीमारी हो जाती है.

गर्भाशय में रसी (मवाद) होना
पशु के योनि के ऊपरी हिस्से से बैक्टीरिया प्रवेश कर जाने के कारण गर्भाशय में बीमारी फैल जाती है और उसमें मवाद पड़ जाती है. इस कारण से मादा पशु गर्मी में तो आते हैं लेकिन मवाद के कारण गर्भित नहीं हो पाते हैं. इस रोग के इलाज के लिए यह जरूरी है कि पशुपालक भाई अपने पशुओं को नजदीकी पशु चिकित्सालय में ले जाकर पशु चिकित्सक से योनि द्वार में दवा डलवाएं और चिकित्सक की सलाह के मुताबिक बीमार पशु की चिकित्सा करवाएं. इस प्रकार की बीमारी से पीड़ित पशु की चिकित्सा बीमारी की गंभीरता को देखते हुए तीन से 10 दिन तक कराना जरूरी होता है.

बच्चेदानी का बाहर आ जाना
कई बार जब पशु ब्याता है तो बच्चेदानी में बीमारी की वजह से ब्याने के बाद पूरा गर्भाशय बाहर निकल आता है. जिससे दुधारु पशुओं में भयंकर तकलीफ पैदा हो जाती है. कई बार इस तकलीफ से पशु मर भी जाता है, इसलिए जब कभी पशु ऐसी तकलीफ में आ जाए तो उसे नजदीकी पशु चिकित्सालय के पशु चिकित्सक को दिखा कर इसका इलाज कराएं. जिससे पशु की जान बच सके.

योनि में सूजन की समस्या
पशुओं को गंदी जगह बांधने के कारण या योनि स्थान को साफ नही रखने के कारण मादा पशु के गर्भाशय में बैक्टीरिया की एंट्री हो जाती है. जिससे योनि द्वार पर सूजन आ जाती है. वहीं गर्भाशय की झिल्लियों लाल हो जाती हैं. जिसके कारण पशु योनि द्वार में जलन महसूस करता है. इसके चलते बार-बार पेशाब करता है. गर्भ धारण नहीं कर पाता है. ऐसे पशुओं को नजदीकी पशु चिकित्सालय के पशु चिकित्सक की मदद से बैक्टीरिया को खत्म करने वाली दवाओं का इस्तेमाल करना चाहिए. जिससे बीमार पशु का उपचार हो सके.

Written by
Livestock Animal News

लाइव स्टॉक एनिमल न्यूज (livestockanimalnews.com) एक डिजिटल न्यूज प्लेटफार्म है. नवंबर 2023 से ये लगातार काम कर रहा है. इस प्लेटफार्म पर एनिमल हसबेंडरी () यानि मुर्गी पालन, डेयरी (), गाय-भैंस, भेड़-बकरी, घोड़ा, गधा, मछली और पशुपालन, चारा, पशु चिकित्सा शि‍क्षा से जुड़ी खबरें पढ़ने को मिलती हैं. ऐग और चिकन के रोजाना बाजार भाव भी इस प्लेटफार्म पर प्रकाशि‍त किए जाते हैं. नेशनल मीडिया जैसे न्यूज18 हिंदी, हिन्दुस्तान, अमर उजाला, दैनिक जागरण, दैनिक भास्कर में काम कर चुके पत्रकार (रिर्पोटर) की टीम लाइव स्टॉक एनिमल न्यूज के लिए खबरें और स्टोरी लिखती है. केन्द्र सरकार के Poultry, Cow, Buffalo, Goat, Sheep, Camel, Horse (Equine), Fisheries, Donkey, Feed-Fodder and Dairy रिसर्च इंस्टीट्यूट के साइंटिस्ट से बात कर उनकी रिसर्च पर आधारित न्यूज-स्टोरी लिखी जाती हैं. इसके साथ ही लाइव स्टॉक एनिमल न्यूज प्लेटफार्म पर एनिमल साइंस और वेटरनरी कॉलेज-यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर और एक्सपर्ट से बात करके खबरें लिखी जाती हैं और उनके लिखे आर्टिकल भी पब्लिूश किए जाते हैं. ये सभी स्टोरी और स्टोरी से जुड़े वीडियो सोशल मीडिया फेसबुक, यूट्यूब (YouTube), इंस्टाग्राम, एक्स (ट्विटर) और लिंक्डइन पर शेयर किए जाते हैं. पशुपालकों की सक्सेट स्टोरी लिखी जाती हैं. उसी सक्सेस स्टोरी के वीडियो बनाकर उन्हें लाइव स्टॉक एनिमल न्यूज के यूट्यूब चैनल पर पब्लिैश किया जाता है. अंग्रेजी में भी न्यूज और आर्टिकल पब्लिाश किए जाते हैं. लाइव स्टॉक एनिमल न्यूज पशुपालन, मछली पालन, मुर्गी पालन और डेयरी से जुड़े विषयों पर होने वाली सेमिनार, वर्कशॉप और एक्सपो को भी कवर करता है. साथ ही एनिमल हसबेंडरी मंत्रालय से जुड़ी खबरें भी कवर करता है. बाजार में आने वाले नए प्रोडक्ट की जानकारी भी इस प्लेटफार्म पर दी जाती है.

Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Related Articles

सभी पशुओं में हरा चारा बेहद खास माना गया है.
पशुपालन

Goat Farming: इन तीन तरीकों से कर सकते हैं बकरी पालन, यहां पढ़ें कौन सा है ज्यादा फायदेमंद

इसे जीरो ग्रेजिंग मेथड भी कहते हैं. अन्य तरीकों की तुलना में...

Milk Production, Dairy News, UP Dairy News, A-Help Scheme, Animal Husbandry, Uttar Pradesh State Rural Livelihood Mission, Yogi Government, CM Yogi, UP CM
पशुपालन

Animal Husbandry: बरसात के मौसम में पशुपालक जरूर से कर लें ये काम, पढ़ें डिटेल

पशुशाला में पशुओं के मल-मूत्र की निकासी का भी उचित प्रबंधन करें।...

पशुपालन

Animal News: प्रो. डॉ. विनोद कुमार वर्मा बने LUVAS के कुलपति, पढ़ें अपनी प्लानिंग के बारे में क्या बोले

उन्होंने हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय (HAU), हिसार से पशु चिकित्सा और पशु विज्ञान...

barbari goat farming
पशुपालन

Goat Farming: बकरी पालन से नुकसान नहीं बल्कि होते हैं कई फायदे, जानें एक्सपर्ट की राय क्या है

भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (IVRI) की ओर से से लाइव स्टक...