नई दिल्ली. हैदराबाद में भारतीय डेयरी एसोसिएशन की ओर से आयोजित हो रहे 50वीं डेयरी इंडस्ट्री कांफ्रेंस का शुभारंभ उपमुख्यमंत्री भट्टी विक्रमार्क मल्लू द्वारा किया गया. इस दौरान ये कांफ्रेंस ‘भारतीय डेयरी-नवाचार और उद्यमिता’ विषय पर आयोजित की जा रही है. 50वें डेयरी उद्योग सम्मेलन के आयोजन के लिए भारतीय डेयरी एसोसिएशन को बधाई देते हुए, उपमुख्यमंत्री विक्रमार्क ने महिलाओं को प्रमुख योगदानकर्ताओं के रूप में श्रेय देते हुए भारतीय डेयरी क्षेत्र पर प्रकाश डाला.संगठित डेयरी क्षेत्र की वकालत करते हुए उन्होंने डेयरी के माध्यम से महिला सशक्तिकरण के लिए राज्य की प्रतिबद्धता पर भी जोर दिया.
‘दुनिया के लिए डेयरी’ बनने के लिए तैयार
‘भारतीय डेयरी – नवाचार और उद्यमिता’ विषय पर बोलते हुए अध्यक्ष, एनडीडीबी मीनेश शाह ने उल्लेख किया कि किसान सबसे बड़े उद्यमी और जोखिम लेने वाले हैं. भारतीय डेयरी क्षेत्र की सफलता के बारे में बोलते हुए उन्होंने कहा कि दूध की कमी वाले देश से दुनिया के सबसे बड़े दूध उत्पादक देश में भारत का परिवर्तन अनुकरणीय है और भारत ‘दुनिया के लिए डेयरी’ बनने के लिए तैयार है. उन्होंने भारतीय डेयरी क्षेत्र की कुछ अनूठी विशेषताओं का भी उल्लेख किया जैसे कि छोटी डेयरी प्रणाली जो यह सुनिश्चित करती है कि उपभोक्ता से होने वाली कमाई का 70-85 प्रतिशत दूध उत्पादकों को वापस कर दिया जाए. देश में सामाजिक-आर्थिक परिवर्तन लाने में डेयरी एक प्रेरक शक्ति रही है. उन्होंने ‘सहकार से समृद्धि’ के साथ तालमेल बिठाते हुए नवाचार के प्रति एनडीडीबी की प्रतिबद्धता पर भी प्रकाश डाला.
पशुओं की उत्पादकता बढ़ाने पर जोर
पशु प्रजनन, पोषण और डिजिटलीकरण में पहल एनडीडीबी के समर्पण को प्रदर्शित करती है. इसके अलावा, पशुओं की उत्पादकता बढ़ाने के लिए, उन्होंने भारत सरकार के राष्ट्रीय गोकुल मिशन के तहत विभिन्न योजनाओं जैसे संतान परीक्षण, वंशावली चयन, जीनोमिक चिप्स का विकास यानी इंडसचिप और बफचिप, भ्रूण स्थानांतरण, लिंग क्रमबद्ध वीर्य और नस्ल गुणन फार्म के बारे में जानकारी दी. संतुलित चारा, खाद प्रबंधन और चारा योजक जैसी परियोजनाओं में स्थिरता सबसे आगे है. एनडीडीबी भारतीय डेयरी क्षेत्र को वैश्विक प्रमुखता की ओर ले जाने और किसानों के लिए समृद्धि सुनिश्चित करने में सबसे आगे है.
इन्होंने रखे डेयरी उद्योग पर विचार
डेयरी उद्योग सम्मेलन में तुम्मला नागेश्वर राव, कृषि मंत्री, तेलंगाना, आधार सिन्हा, विशेष मुख्य सचिव, पशुपालन एवं मत्स्य पालन, तेलंगाना सरकार, सुश्री चित्तम लक्ष्मी, एमडी, तेलंगाना राज्य डेयरी फेडरेशन लिमिटेड, पियरक्रिस्टियानो ब्राज़ेल, अध्यक्ष, अंतर्राष्ट्रीय डेयरी फेडरेशन, डॉ. आरएस सोढ़ी, अध्यक्ष, आईडीए, सीपी चार्ल्स, महासचिव, 50वीं आईडीसी, डॉ. सतीश कुलकर्णी, अध्यक्ष, आईडीए-दक्षिण क्षेत्र, डॉ. धीर सिंह, निदेशक, राष्ट्रीय डेयरी अनुसंधान संस्थान (एनडीआरआई), सीएच राजेश्वर राव, अध्यक्ष, आईडीए; डॉ. एस सुभाष, सचिव, इंडियन डेयरी एसोसिएशन, साउथ जोन आदि ने अपने-अपने विचार रखे.
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