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Fish Farming: गर्मी में इस मछली को पालें तो मिलेगा अच्छा उत्पादन, तेजी से होती है इनकी ग्रोथ

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कुछ खास तरीके अपनाकर मछलियों छोटी-बड़ी बीमारी की पहचान खुद ही कर सकता है.

नई दिल्ली. मछली पालन एक बेहतरीन काम है, जिससे काफी इनकम हासिल की जा सकती है. मछली पालन करके आप साल में लाखों रुपए कमा सकते हैं. हालांकि गर्मी में कई बार उत्पादन कम हो जाता है. इससे मछली पालकों को नुकसान होने लग जाता है. इसलिए ये जानना बेहद ही जरूरी है कि गर्मी में किस तरह की मछली को पाला जाए, जिससे मछली पालन में अच्छी कमाई हो. फिश एक्सपर्ट का कहना है कि गर्मी के मौसम में मछली पालन से कमाई की जा सकती है लेकिन आपको यहां यह मालूम होना चाहिए कि किस तरह की मछलियों को पालने से गर्मी में अच्छा उत्पादन मिलेगा.

एक्सपर्ट के मुताबिक गर्मी के मौसम की वजह से मछलियां उतनी अच्छी ग्रोथ हासिल नहीं कर पाती हैं, जितना कि अन्य मौसम में. इसलिए यह बेहद जरूरी होता है कि ऐसी मछलियों को पाला जाए, जिनकी ग्रोथ अच्छी हो और उनसे उत्पादन भी बेहतर मिल सके. तभी फिश फार्मिंग के काम में मुनाफा ज्यादा होता है.

ये मछली काफी तेजी से करती है ग्रोथ
फिश एक्स्पर्ट के मुताबिक सबसे पहले बात करते हैं गर्मियों में सबसे ज्यादा फायदा देने वाली मछली की. आईएमसी ग्रुप की कतला मछली इसमें बेहतर मानी जाती है. यह मछली उन लोगों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है जो कम मेहनत में ज्यादा मुनाफा कमाना चाहते हैं. दरअसल, कतला मछली तालाब के ऊपर सतह पर तैरते हुए अपना खाना खुद तलाश कर लेती है और उसकी ग्रोथ भी बाकी मछलियों की तुलना में काफी तेजी के साथ होती है. खास बात ये है कि इसे ज्यादा देखभाल की जरूरत नहीं होती है. अगर फिश फार्मिंग में ज्यादा फायदा लेना चाहते हैं तो कतला मछली का पालन एक बेहतर फैसला साबित हो सकता है.

इन बातों का जरूर रखें ध्यान
हालांकि कतला मछली की देखभाल में इस बात का ख्याल रखना जरूरी है कि तालाब का पानी हमेशा हरा बना रहे. तालाब का पानी हरा रहने का मतलब ये है कि तालाब के अंदर भरपूर मात्रा में प्लैंक्टन मौजूद होना चाहिए. प्लैंक्टन मछलियों का नेचुरल फीड होता है. जैसे तालाब में नेचुरल फीड बनेगा, कतला मछली खुद बहुत तेजी से मोटी ताजी होती जाएगी. फिश एक्सपर्ट का कहना है कि प्लैंक्टन से खर्चा कम आता है और मुनाफा भी ज्यादा मिलता है, लेकिन मछली पालक इस बात का ध्यान जरूर रखें कि मछलियों की संख्या तालाब में ज्यादा नहीं होनी चाहिए. क्योंकि मछली के बीज जब सही संख्या तालाब डाली जाएगी तो संतुलन बना रहेगा. कतला मछली का होलसेल रेट गर्मी में 200 से 250 क रहता है.

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